आयरन उन महत्वपूर्ण पोषक तत्वों में से एक है जिसकी जरूरत शरीर को कई तरह गतिविधियों के लिए है। यह मुख्य रूप से लाल रक्त कोशिका के उत्पादन में अपनी भूमिका निभाता है। 6 महीने और 3 साल के बीच के बच्चों में आयरन की कमी बहुत ही देखी जा रही है। इसका मुख्य कारण शरीर को अच्छी तरह से पोषण न मिलना है। हालांकि इससे बड़े बच्चे भी प्रभावित हो रहे हैं। आयरन की कमी से उन्हें एनीमिया रोग का सामना करना पड़ रहा है।
आपको बता दें कि आयरन एक खनीज है जो हीमोग्लोबिन का एक अनिवार्य हिस्सा है। हीमोग्लोबिन आपके शरीर के ऊतकों को बेहतर तरीके से काम करने के लिए रक्त में ऑक्सीजन परिवहन के लिए जिम्मेदार एक प्रोटीन है।
बच्चों में आयरन की कमी के कारण
- शरीर में पोषण तत्व की कमी
- आयरन को अवशोषित करने के लिए शरीर की अक्षमता
- गाय के दूध की अत्यधिक सेवन
- फूड एलर्जी
बच्चों में आयरन की कमी के लक्षण
- पीली स्किन
- कमजोरी और लंबी थकान
- सिरदर्द और चक्कर आना
- चिड़चिड़ापन और ऊर्जा की कमी
- सांस लेने में कठिनाई पीली त्वचा
- वजन का घटना
आयरन की कमी को कैसे दूर किया जाए
1. बच्चों को 6 महीने के होने तक स्तन दूध पीना चाहिए। यह आयरन के बेहतर अवशोषण में मदद करता है और इम्यून सिस्टम के विकास में सहायता करता है।
2. यदि आपका बच्चा मां का दूध नहीं पी रहा है तो आप डॉक्टर की सहायता से आयरन से भरपूर सप्लीमेंट को ले सकते हैं।
3. आप बच्चे को फल और सब्जी के जरिए भी आयरन दे सकते हैं। – विटामिन सी की कमी के लक्षण
आइए जानते हैं कि एक व्यक्ति के जीवन में आयरन क्यों है जरूरी
1. आयरन मांसपेशियों के स्वास्थ्य के लिए यह एक महत्वपूर्ण तत्व है। यह मांसपेशियों के संकुचन के लिए आवश्यक ऑक्सीजन की आपूर्ति प्रदान करने में मदद करता है।
2. जर्नल ऑफ न्यूट्रिशन द्वारा किए गए एक अध्ययन में पाया गया कि आयरन बच्चों में भूख में वृद्धि करने में सहायता करता है।
3. अध्ययनों से पता चलता है कि आयरन का सेवन चक्कर आना, मूड स्विंग्स, हाइपरटेंशन इत्यादि से राहत प्रदान कर सकता है।
4. आयरन चोट लगने पर उसके जख्म को जल्दी भरने के साथ ही रेड ब्लड सेल्स के बनने में सहायता करता है जो शरीर में ऑक्सीजन पहुंचाते हैं। अगर ऑक्सीजन ठीक से नही पहुंचती तो जख्म जल्दी नहीं भर पाते।
5. आयरन शरीर और दिमाग दोनों में ऑक्सीजन की पूर्ति करने में मदद करता है जिससे शारीरिक और मानसिक दोनों रूप से एनर्जी आती है। आयरन कम होने के कारण आप थका हुआ और चिड़चिडा़पन महसूस करने लगते हैं।
6. पीली पड़ी स्किन और आंखों के नीचे काले घेरे एनीमिया के संकेत हो सकते हैं। आयरन की कमी से हीमोग्लोबिन कम हो जाता है, जिससे स्किन का रंग पीला पड़ जाता है। अपनी डाइट में आयरन युक्त खाना शामिल करने से आप अपने स्किन में ग्लो देखेंगे।
7. अध्ययन में बताया गया है कि आयरन की कमी बालों के झड़ने की दर में वृद्धि करता हैं, खासकर गैर-रजोनिवृत्ति वाली महिलाओं में। आयरन बाल की बनावट में सुधार करने में सहायता करता है और बालों की जड़ों और स्कैल्प के लिए ऑक्सीजन और पोषक तत्वों के प्रवाह में मदद करता है। – फाइबर की कमी को दूर करने के उपाय