बॉलीवुड का उभरता हुआ सितारा विक्की कौशल ने बहुत ही कम समय में हिंदी सिनेमा में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। विक्की कौशल ने फिल्म मसान से सबको बता दिया था कि वह बॉलीवुड में लंबी पारी खेलने जा रहे हैं।
अब वह चाहे फिल्म ‘राजी’ में पत्नी को बेहद प्यार करने वाले एक पति का किरदार हो, या ‘संजू’ में मनमौजी गुजराती दोस्त या ‘लव पर स्क्वायर फुट’ में एक भ्रष्ट पुलिस अधिकारी का किरदार निभाना हो, अपने बेहतरीन अभिनय से विक्की ने दर्शकों और समीक्षकों का दिल जिता है।
विक्की कौशल वास्तव में बी-टाउन के सबसे बहुमुखी और यथार्त अभिनेताओं में से एक है। यह किसी भी से छिपा नहीं है कि वह अपनी फिल्मों में कितनी कडी मेहनत और समर्पण दिखाते हैं।
काम और शरीर के प्रति उनकी प्रतिबद्धता ही है जिसकी वजह से लोग उनसे प्रभावित होते हैं। आपको बता दें कि विक्की कौशल न केवल अपने अपने अभिनय पर काम करते हैं बल्कि खुद को फिट भी रखते हैं। आइए जानते हैं कि विक्की जिम में क्या करते हैं।
विक्की कौशल का फिटनेस प्लान
1. विक्की कौशल को आप कई बार पुल-अप्स करते हुए देख सकते हैं। पुल-अप्स करने से कलाई, कोहनी और कंधे को ताकत मिलती है। पुल-अप्स भविष्य के पीठ दर्द की संभावनाओं को कम करता है और किसी भी गंभीर चोट को रोकने से रोकता है।
2. मोटापा कम करने और चुस्त-तंदरुस्त रहने के लिए बड़ी संख्या में लोग दौड़ लगाते हैं। दौड़ना एक स्वस्थ शरीर और दिल के लिए सबसे महत्वपूर्ण गतिविधियों में से एक है। यह व्यायाम का सबसे सरल और सबसे सुलभ रूप है जिसे हर कोई कर सकता है, चाहे उसकी उम्र कोई भी हो।
अध्ययनों से पता चला है कि दौड़ने से स्ट्रोक, कैंसर और मधुमेह जैसी मेटाबॉलिक की स्थिति कम हो रही है। इससे उम्र के साथ-साथ हड्डियों की उम्र बढ़ने लगती है। वजन कम करने और चुस्त-तंदरुस्त रहने के लिए बड़ी संख्या में लोग दौड़ लगाते हैं। इनमें से ज्यादातर लोगों को दौड़ने का सही तरीका मालूम नहीं होता है। – विराट कोहली की फिटनेस और डाइट
3. विक्की कौशल सभी तरह के कसरत करने के बाद यह सुनिश्चित करते हैं कि वह बेटल रोप ट्रेनिंग लेने से चूक नहीं पाए। अपको बता दें कि बेटल रोप ट्रेनिंग दुनिया भर के लगभग हर फिटनेस सेंटर में सबसे महत्वपूर्ण एक्सरसाइजों में से एक है। यह ग्रिप स्ट्रेथ में सुधार करने में मदद करता है। इसके अलावा, बेटल रोप ट्रेनिंग का एक और सबसे आवश्यक लाभ गतिशीलता (mobility) है।
यह एक्सरसाइज कंधे, कोर, कूल्हे, ग्रिप, पैर, और एड़ियों में गतिशीलता में सुधार करने में मदद करता है। इसका अभ्यास नियमित रूप से करने के बाद गतिशील प्रदर्शन (dynamic performance) में भी एक महत्वपूर्ण सुधार होता है।