हमारे शरीर का हर अंग अपने आप में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। जब हम कभी किसी बड़ी बीमारी का शिकार होने वाले होते हैं तो वह हमारे अंग ही होते हैं जो हमें संकेत दे देते हैं कि ‘कुछ तो गड़बड़ है’।
इस बात को हम नकार नहीं सकते कि मानव शरीर आश्चर्यजनक तरीके से काम करता है। छोटे-छोटे अंग कितना बड़ा काम करते हैं हमारे बॉडी के अंदर आपको शायद ही इसकी जानकारी होगी। आप चौंक जाएंगे यह जानकर कि हाथों में मौजूद नाखून जिसे हम अकसर बढ़ जाने पर काटकर हटा देते हैं वह सबसे पहले हमारे रोगी होने का संकेत देती है।
आज sehatgyan.com आपको बताने जा रहा है नाखूनों के वह 10 सिग्नल जो यह बताते हैं कि आप बीमार होने वाले हैं :
नाखून का कलर (रंग)
क्या आपके नाखूनों का रंग फीका हो गया है या फिर बेरंग दिखने लगा है तो सावधान होने का समय आ गया है क्योंकि यह किसी प्रकार के इंफेक्शन, पोषण की कमी या शरीर के आंतरिक अंगों की समस्याओं की ओर इशारा है। बता दें कि नाखूनों का रंग ब्राउन या डार्क हो जाना, इसका मतलब है कि आपको थायरॉइड या फिर कुपोषण के कारण ऐसा हो रहा है। वहीं, नाखूनों का सफेद होना भी आयरन की कमी का साफ संकेत हैं।
नाखून का पीला हो जाना
मसालेदार खाना हाथों से खाने के बाद भी अकसर ऊंगलियों के नाखूनों का रंग पीला हो जाता है, वहीं नेल पॉलिश के अत्यधिक प्रयोग के कारण भी नाखून पीले हो जाते हैं। जब नाखूनों में पीलापन हमेशा रहे तो यह गंभीर समस्या हो सकती है। इसके पीछे फंगल इंफेक्शन या सायरोसिस जैसे कारण भी हो सकते हैं। आपको बता दें कि नीलापन या सिलेटी रंग लिए हुए नाखूनों का मतलब है कि आपके शरीर को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन नहीं मिल पा रही है और उसे ऑक्सीजन की आवश्यकता है।
कमजोर व भूर-भुरे से नाखून
अकसर आपने लोगों से सुना होगा कि उनके नाखून बड़े नाजुक है और जल्दी ही टूट जाते हैं। ऐसे में ध्यान रहे कि रूखे, कमजोर और भुरभुरे से दिखने वाले नाखून, जो जल्दी टूट भी जाते हों इस बात का संकेत करते हैं कि यह थायरॉइड या फिर फंगल इंफेक्शन के कारण ऐसा हो रहा है।
मोटे-मोटे नाखून
जब कभी आपको नाखून नॉर्मल दिनों से ज्यादा मोटे-मोटे दिखने लगे तो इसे नज़रअंदाज़ ना करें क्योंकि यह स्थिति फंगल इंफेक्शन के कारण भी हो सकती है, लेकिन अगर इसे गंभीरता से लिया जाए, तो आर्थ्राराइटिस, डाइबिटीज, फेफड़ों में इंफेक्शन, एग्जिमा, सायरोसिस भी इसके कारण होते हैं। जान लें कि नाखूनों का कड़ा और मोटा होना, पीलापन, वृद्धिी में कमी होना जैसे कारण इनके पीछे हो सकते हैं।